रिपोर्ट मनप्रीत सिंह
रायपुर छत्तीसगढ विशेष : कोरोना वायरस ने दुनिया की कई अर्थव्यवस्थाओं को तगड़े झटके दिए हैं। कुछ के इन्फ्रास्ट्रक्चर को चोट पहुंची है तो कहीं प्रोडक्शन रुकने की वजह से कंपनियां मूव आउट कर रही हैं। सप्लाई चैन भी ध्वस्त हुई है। ऑप्टिक्स और बिजनेस, दोनों लिहाज से चीन को तगड़ा झटका लगा है। इसी दौरान, भारत उसे हैरान करने को तैयार है। यह एक मौका है कि उन कंपनियों को अपने देश बुलाया जाए जो कोरोना जैसी महामारी फैलने के बाद चीन में नहीं रहना चाहती। उन्हें अपना प्रोडक्शन बेस बदलना है और भारत के लिए इससे अच्छी बात क्या हो सकती है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इशारा भी कर दिया है कि वे इस दिशा में इनवेस्टमेंट्स करने को तैयार हैं।
कैसे बुलाई जाएंगी कंपनियां
मोदी अपने मंत्रियों से बात कर चुके हैं। कैबिनेट का प्रस्ताव भी लगभग तैयार है। पीएम कह भी चुके हैं कि भारत को सेल्फ-डिपेंडेंट बनाने की जरूरत है। पीएम मोदी के दिमाग में जो प्लान है, वो पिछले कई महीनों से इस्तेमाल हो रहा है। ये है ‘प्लग एंड प्ले’ मॉडल। इसके जरिए इनवेस्टर्स अच्छी जगहों को आइडेंटिफाई करते हैं और फिर तेजी से अपना प्लांट वहां लगा देते हैं। अभी जो सिस्टम है वो करीब दर्जनभर राज्यों में इनवेस्टर्स को अपना सेटअप लगाने का मौका देता है। क्लियरेंस के लिए केंद्र सरकार के साथ-साथ राज्य सरकारें भी सिंगल-विंडो प्लैटफॉर्म तैयार करने में जुटी हैं। इसमें इलेक्ट्रॉनिक और मॉनिटरिंग सिस्टम भी होगा।